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Wednesday, March 11, 2009

लम्हे - नजर-ए-गजल

ज़िन्दगी में चन्द लम्हे होते कितने असरदार।
जो बदलकर रक्ख देते हैं किसी जीवन की धार।।

जग में लाता एक लम्हा लेके संग खुशियां अपार।
एक लम्हा मौत लाता, छूटते नाते हज़ार।।

प्यारा सा इक लम्हा आता, ज़िन्दगी में लेके प्यार।
संग लाता दूसरा लम्हा जुदाई की बयार।।

एक लम्हा गुज़रा ऐसा ज़िन्दगी में नागवार।
मैं खड़ा देखा किया, लम्हे ने छीना मेरा यार।।

था बनाया एक लम्हे ने कभी शायर, गँवार।
एक लम्हे ने सिखाया, ज़िन्दगी का कारोबार।।



प्रस्तुति - पंकज तिवारी

12 comments:

vijay kumar sappatti said...

BAHUT HI SUNDAR AUR PRABAAHSHALI GAZAL
DERO BADHAIYIAAN

VIJAY

mehek said...

था बनाया एक लम्हे ने कभी शायर, गँवार।
एक लम्हे ने सिखाया, ज़िन्दगी का कारोबार।।
waah behad asardaar,sunder

रंजू भाटिया said...

बहुत खूब एक लम्हा ही ज़िन्दगी का रंगबदल देता है

नीरज गोस्वामी said...

लम्हे की महिमा है अपरम्पार....बहुत अच्छा लिखा है आपने...राही शहाबी जी की लम्बी नज़्म "लम्हा" याद आ गयी...

नीरज

222222222222 said...

ग़ज़ल दर ग़ज़ल। एहसास दर एहसास। सुकुन दर सुकुन।

ज़ाकिर हुसैन said...

था बनाया एक लम्हे ने कभी शायर, गँवार।
एक लम्हे ने सिखाया, ज़िन्दगी का कारोबार।।
बहुत खूब!!!!

Unknown said...

ज़िन्दगी में चन्द लम्हे होते कितने असरदार।
जो बदलकर रक्ख देते हैं किसी जीवन की धार।।

जग में लाता एक लम्हा लेके संग खुशियां अपार।
एक लम्हा मौत लाता, छूटते नाते हज़ार।।


बहुत ही बढ़िया अभिव्यक्ति। जीवन की सच्चाई को बयां करती हुई गजल । बधाई

Yogesh Verma Swapn said...

bahut khoob , aapki ye kavita.
zara gaur karen.

lamha-lamha jud bani hai zindgi

lamhe-lamhe men kare ja bandgi

lamha lamha hai bahut hi keemti

lamhe lamhe men chhupi hai raushni

bahut khoob , aapki ye kavita.

मुकेश कुमार तिवारी said...

नीशू जी,

देरी के लिये मुआफी चाहूंगा. आपकी प्रतिक्रियाओं ने मेरा हौंसला बढाया है. आपके मीडीया समूह पर आकर अच्छा लगा.

पंकज जी की एक लम्हे में सिमटी हुई जिन्दगी की पैरवी अच्छी लगी. कुछ तो बहुत ही खूब कहा है मसलन " था बनाया एक लम्हें ....... सिखाया जिन्दगी का करोबार "

होली पर रंगभरी बधाईयाँ आप सभी को.

मुकेश कुमार तिवारी

Satish Chandra Satyarthi said...

बढ़िया है, निशु भाई
लगे रहिये लगाए रहिये
ग़ज़ल की महफ़िल जमाये रहिये

ghughutibasuti said...

बहुत बढ़िया!
घुघूती बासूती

surabhi said...

ज़िन्दगी में चन्द लम्हे होते कितने असरदार।
जो बदलकर रक्ख देते हैं किसी जीवन की धार।।

जग में लाता एक लम्हा लेके संग खुशियां अपार।
एक लम्हा मौत लाता, छूटते नाते हज़ार।।
लम्हों कि कैफियत किस खूबी से बया कि है आपने
यु ही आगे बढातेरहे ये कदम